लापता नेहा जोशी की फिल्मी कहानी, ऐसे मिले वो के उनकी ही होकर रह गई नेहा, फिर आया एक नया मोड़ और उसकी मांग भी भर गई, नेहा कैसे बनी मां |

नीमच ,

14 माह से लापता नेहा जोशी मामले में आज सनसनी खेज खुलासा उसकी बरामदगी के बाद हुआ। ये ऐसा खुलासा है जिसे सुनकर आप हैरान रह जाएंगे, क्योंकि पुलिस के सामने सवाल ये था कि 14 माह से लापता नेहा जोशी आखिर गई कहां। क्या उसे जमीन निगल गई या फिर आसमान खा गया। नेहा जोशी के लापता होने और उसकी आज हुई बरामदगी के बीच की पूरी दास्तां हम आपको बताएंगे, लेकिन उसके पहले ये बताना जरूरी है कि नेहा जोशी 14 माह पूर्व लापता हुई। उसके बाद पुलिस ने गुमशूदगी कायम की और उसकी तलाश शुरू की। इस दौरान नेहा जोशी का मोबाइल फोन भादवा माता के स्नानगार में मिला, लेकिन नेहा नहीं मिली। इस पूरे मामले में एक नया मोड़ 14 माह बाद तब आया जब उसके पिता राकेश जोशी 25 दिन तक आमरण अनशन पर बैठ गए। जिसके समर्थन में सर्वसमाज के साथ विश्व हिंदू परिषद ने भी मोर्चा संभाल लिया और नीमच बंद का आव्हान भी हुआ। दबाव बढ़ता देख पुलिस भी सक्रिय हो गई और एसपी सूरज कुमार वर्मा ने एसआईटी का गठन किया, जिसमें साइबर एक्सपर्ट योगेंद्र सिंह सिसौदिया सहित अन्य पुलिस अफसर शामिल थे। कहते हैं पुलिस मुर्दों से भी बुलवा लेती है और आखिरकार वहीं हुआ। पुलिस पतारसी करते-करते नेहा जोशी मामले की तह तक पहुंच गई। अब सुनिये वो खुलासा जो आपको हैरान कर देगा- सूत्रों से पता चला है कि बरामद नेहा जोशी ने पुलिस को दिए अपने बयान में बताया कि वो माता-पिता की प्रताड़ना से दुखी थी। इसी दौरान वह एक मोबाइल खरीदकर ले आई। जिसका पता घर में चला तो माता-पिता भारी नाराज हो गए। उसी के चलते मैंने घर से भागने की सोची और कुछ लोगों का सहयोग लेकर मैं भादवा माता पहुंची। जहां पर मुझे एक बुजुर्ग पति-पत्नी मिले। वो प्रतापगढ़ के रहने वाले थे। मैं उनके साथ हो ली और उन्हीं के साथ बेटी बनकर परिवार में रहने लगी। कुछ अरसे बाद उन्होंने उनके परिवार के एक लड़के हेमंत सिसौदिया को मुझे दिखाया, जो मुझे पसंद आ गया। जिससे मेरी शादी हो गई और एक बच्चा भी है। इस घटना से यह भी साफ हो गया कि जिन चार लोगों पर अपहरण का मुकदमा बना था वो सही नहीं था। नेहा जोशी का अपहरण नहीं हुआ। वह अपनी मर्जी से गई थी। पुलिस नेहा जोशी, उसके पति और बच्चे को नीमच ले आई है। आज न्यायालय के सामने उनके अधिकारिक बयान होंगे। उसके बाद वह अपने पति के साथ वापस प्रतापगढ़ भेज दी जाएगी। चुंकि नेहा जोशी बालिग है, इसलिए उसे अधिकार है कि वह अपनी स्वेच्छा से अपना घर बसाएं और अपने पति के साथ रहे। नेहा जोशी के मिलने के साथ ही तमाम शंकाओं और कुशंकाओं पर भी विराम लग गया और एक बार फिर एसपी सूरज कुमार वर्मा और उनकी टीम ने यह साबित कर दिया कि पुलिस चाहे तो कोई मामला अनसुलझा नहीं रह सकता।

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