गौमाता ओर अन्य पशुओ के लिए सरकार ने बनवाये है टीके जरूर लगवाएं।
झाबुआ जिला प्रमुख ब्यूरो चीफ चंद्रशेखर राठौर
मध्यप्रदेश के समस्त कलेक्टर को दिये निर्देश की अपने अपने जिले में पशुओ ओर गौमाता को टिके लगाना सुनिश्चित करें।
उसी निर्देश का पालन करते हुये झाबुआ कलेक्टर ने निर्देश दिये कि पशुओं का शत-प्रतिशत टिकाकरण करें एवं लंपी वायरस से प्रभावित हुए पशुओं को अलग रखे कर उनकी बीमारी का इलाज करवाए। ओर जबतक ठीक नही हो जाति उसकी देख रेक भी करते रहे। झाबुआ 23 सितंबर, 2022 प्रदेश के मुख्यमंत्री सभी से यह आव्हान किया है कि हमारे देश में जिस तरह से महामारी कोरोना वायरस ने हड़कंप मचाया था ओर हम सब ने मिलकर उसका सामना किर जो लड़ाई लड़ी थी। उसी की तरह अभी हमारी गौमाता ओर पशुओ मे भी लंपी नामक बीमारी चल रही हैं तो हम सब को मिलकर इस लड़ाई को भी लडना है। ओर हमारी गौमाता और पशुओं को टीका लगवाकर इस बीमारी को ख़त्म करना है। इस लिए आप सभी से अनुरोध हैं कृपया आप और अपने परिचित को भी कहे की टिका जरूर लगवाएं। गोवंश और पशुओं में फैली लंपी बीमारी से कोरोना की तरह से ही लडना होगा। जिस तरह हमने कोरोना को हराया है। उसी तरह लंपी को भी पराजित करेंगे। पशुओं को भी टीकाकरण जरूरी करवाना होगा। सरकार की तरफ से निःशुल्क टीका लगाया जा रहा है, लोग पशुओं का टीकाकरण जरूर कराएं। यह बात मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने गुरूवार को किसानों को दिए संदेश में कही। वह दूरदर्शन और इंटरनेट मीडिया के माध्यम से संबोधित कर रहे थे। प्रदेश के 26 जिलो में लंपी के 7,600 से ज्यादा मामले सामने आने के बाद सरकार भी अलर्ट मोड पर है। मुख्यमंत्री ने बुधवार को पशु चिकित्सा विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक कर रोकथाम के उपायों पर कडाई से अमल करने को कहा था। उन्होंने कहा कि हम अपने पशुओं विशेषकर गौमाता को हम सभी माता मानकर पूजा करते है। पशु हमारी अर्थव्यवस्था को भी मजबूत करने का काम करते है। आज तब पशु संकट में है तो हमारा कर्तव्य है कि उन्हें इस मुसीबत से बहार निकालने के लिए भरपूर प्रयास करें। इन प्रयासों मे सरकार किसानों के साथ है। उन्होंने कहा कि यह बीमारी पशुओं से इंसानों में नहीं फैलती, इसलिए घबराने की जरूरत नहीं है।
झाबुआ जिला दण्डाधिकारी श्रीमती रजनी सिंह ने भी जिले वासियो से अनुरोध किया है।
कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी श्रीमती रजनी सिंह ने कहा की जो लंपी वायरस से पीडित पशु है उन्हें अलग रखा जाये एवं उनका भी वैक्सीन करवाये इसके अतिरिक्त जो पशु पीडित है। उसका प्राथमिक्ता के आधार पर वैक्सीनेशन करवाये। जिले में लंपी वायरस का टीका निःशुल्क लगाया जा रहा है। लंपी वायरस के संक्रमण की सूचना स्थानिय पशु चिकित्सालय एवं जिला स्तर पर स्थापित कंट्रोल रूम से भी सम्पर्क करे।
गाय के दुग्ध उत्पादन और गुणवता पर लंपी वायरस का असर नहीं मध्यप्रदेश समेत कई राज्यों में गोवंशी पशुओं में लंपी बीमारी फैल रही है। इससे गाय के दुग्ध उत्पादन ओर उसकी गुणवता को लेकर पशुपालक व दूध का उपयोग करने वाले सशंकित है। पशु चिकित्सा विशेषज्ञों का कहना है कि इस बीमारी से दुग्ध उत्पादन जरूर प्रभावित होगा लेकिन गुणवता पर असर नहीं पडेगा। हम दूध को उबालने के बाद ही पीते है इसलिए उसमें मौजूद हानिकारक जीवाणु नष्ट हो जाते है। शेर-ए-कश्मीर वेटनरी विश्वविद्यालय जम्मू के वरिष्ठ विज्ञानी और वेटरनरी वैक्सीन के विशेषज्ञ प्रो. नीलेश शर्मा ने बताया कि लंपी वायरस से गोवंशियों के अंगों को भी नुकसान पहुंच रहा है। दुग्ध उत्पादन में कमी संभव है पर दूध से कोई नुकसान नहीं होता। प्रो. शर्मा ने बताया कि लंपी वायरस के लक्षण को खत्म करने के लिए वैक्सीन तैयार तो कर ली गई है, लेकिन अभी भी इसका परीक्षण होना बाकी है। अब यह केन्द्र सरकार को तय करना है कि या तो वह मौजूदा हालात को देखते हुए वैक्सीन का इमरजेंसी ट्रायल शुरू कर दे या फिर तय मापदंड के आधार पर ट्रायल कराए। प्रो. शर्मा ने बताया कि देश में वैक्सीन की लगभग 25 लाख डोज की जरूरत है। मथुरा वेटरनरी कालेज के डीन प्रो. पंकज शुक्ला ने बताया कि पंजाब , हरियाणा, उ.प्र. समेत कई राज्यों की गायों में लंपी वायरस के लक्षण को रोकने के लिए बडे स्तर पर गोटपाक्स वैक्सीन लगाई जा रही है। अभी भी मैदानी वेटरनरी डाक्टरों को इस वायरस से जुडी जानकारी बहुत कम है।